
जौनपुर के एक निजी हॉस्पिटल पर परिजनों का आरोप : चिकित्सक ने एक बार कहा मर गया सुबह दोबारा कहा जिंदा है।
डॉ.इम्तियाज अहमद सिद्दीक़ी सह-सम्पादक जौनपुर, लखनऊ (उत्तर प्रदेश)
रियाजुल हक ब्यूरों
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जौनपुर के एक निजी हॉस्पिटल पर परिजनों का आरोप : चिकित्सक ने एक बार कहा मर गया सुबह दोबारा कहा जिंदा है।
जौनपुर(उत्तरशक्ति):जफराबाद थाना क्षेत्र के ग्राम अहमदपुर निवासी शुभम निषाद 19 साल पुत्र परदेसी निषाद दो दिन पहले एक सड़क हादसे में जख्मी हो गया था।हालत गंभीर हो गई। परिजनों ने आनन फानन में नईगंज स्थित शेखर कांति हॉस्पिटल में भर्ती कराया जहां चिकित्सक ने उपचार शुरू किया। परिजनो का आरोप है कि रात में वहां के चिकित्सक ने कहा कि तुम्हारा मरीज बच नहीं सका अर्थात मर गया है लेकिन सुबह फिर कहा किया जिंदा है और उपचार चल रहा है। परिजन ने कहा कि जब युवक मर चुका है तो हमे बॉडी दे दीजिए।लेकिन हॉस्पिटल स्टाफ मारपीट पर उतारू हो गया परिजन जिलाधिकारी के यहां गए और अपनी पूरी समस्या सुनाई तो डीएम ने सीएमओ को निर्देशित किया कि जांच कर मामले को बताइए।पुलिस ने शव को कब्जे में लेकर पोस्टमॉर्टम के लिए भेज दिया है।
जौनपुर में बाहर से आए हुए मरीजों के साथ यहां के विभिन्न अस्पताल निजी और उनके स्टाफ बहुत बदतमीजी से पेश आते हैं आए दिन पॉलिटेक्निक चौराहा नईगंज रोड, पॉलिटेक्निक चौराहा से सिटी स्टेशन रोड, पॉलिटेक्निक चौराहा से उमरपुर वाजिदपुर तिराहा स्थित विभिन्न निजी अस्पतालों में सिपाह में और रसूलाबाद इत्यादि में निजी अस्पतालों में रोज-रोज कोई ना कोई घटनाएं होती रहती हैं परिजन परेशान रहते हैं बहुत सी घटनाओं को तो मीडिया के सामने ले आया जाता है लेकिन बहुत सी घटनाएं वही दबा दी जाती है। इस प्रकार से जौनपुर में स्वास्थ्य विभाग के मिली भगत से निजी अस्पताल अच्छी खासी चांदी काट रहे हैं जिस और स्वास्थ्य विभाग कोई भी ध्यान नहीं दे रहा और परिजन और आम जनता अपने मरीज को लेकर के परेशान नजर आती हैं।